अग्नि-V मिसाइल
- अग्नि-V देश में निर्मित सबसे उन्नत सतह-से-सतह पर मार करने वाली स्वदेशी बैलेस्टिक मिसाइल है,जिसे रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (DRDO) ने बनाया है।
- ये भारत के पास मौजूद लंबी दूरी की मिसाइलों में से एक है।
- यह तीन चरणों की ठोस ईंधन वाली 17 मीटर लंबी मिसाइल है तथा लगभग 1.5 टन के परमाणु हथियार ले जाने में सक्षम है।
- अग्नि-V एक फायर एंड फॉरगेट (दागों और भूल जाओ) मिसाइल है, जिसे एक बार दागने के बाद इंटरसेप्टर मिसाइल के अलावा रोका नहीं जा सकता है।
- अग्नि-V मिसाइल इंटीग्रेटेड गाइडेड मिसाइल डेवलपमेंट प्रोग्राम (IGMDP) के तहत विकसित किया गया है।
- पृथ्वी, अग्नि, त्रिशूल, नाग, आकाश (P-A-T-N-A) GMDP कार्यक्रम के तहत विकसित 5 मिसाइलें हैं।
मिसाइलों की अग्नि श्रेणी
- अग्नि-I- 700-800 किमी. की रेंज। (19 अप्रैल, 2012)
- अग्नि-I- 2000 किमी. से अधिक रेंज। (15 सितंबर, 2013)
- अग्नि-III- 2,500 किमी. से अधिक की रेंज। (31 जनवरी, 2015)
- अग्नि-IV- इसकी रेंज 3,500 किमी. से अधिक है और यह एक रोड मोबाइल लॉन्चर से फायर कर सकती है। (9 नवंबर, 2015)
- अग्नि-V- यह अग्नि शृंखला की सबसे लंबी, एक अंतर-महाद्वीपीय बैलिस्टिक मिसाइल (ICBM) है जिसकी रेंज 5,000 किमी. से अधिक है। (18 जनवरी, 2018)
- अग्नि-पी (प्राइम) – यह एक कनस्तर वाली मिसाइल है जिसकी मारक क्षमता 1,000 से 2,000 किमी. के बीच है। यह अग्नि I मिसाइल की जगह लेगी।
इंटीग्रेटेड गाइडेड मिसाइल डेवलपमेंट प्रोग्राम (IGMDP)
- IGMDP की स्थापना का विचार प्रसिद्ध वैज्ञानिक डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम द्वारा दिया गया था ताकि भारत मिसाइल प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में आत्मनिर्भर बन सके।
- इसे भारत सरकार द्वारा वर्ष 1983 में अनुमोदित किया गया था और कार्य मार्च 2012 में पूरा किया गया था।